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मंत्री जी के क्षेत्र में युवा मोर्चा के मंडल अध्यक्ष व साथियों पर आगजनी का मामला दर्ज.. इधर दमोह में वरिष्ठ पुलिस अधिकारियों के सामने कांग्रेस का तंबू हिलाने पहुच गए भाजपाई..

आगजनी मामले में नामजद आरोपी बने युवा मोर्चा मंडल अध्यक्ष व साथी..

दमोह। मप्र के पशुपालन डेयरी विकास राज्य मंत्री स्वतंत्र प्रभार श्री लखन पटेल के निर्वाचन क्षेत्र में लगातार अवैध खनन परिवहन के मामले सामने आने के साथ अब कानून व्यवस्था की स्थिति को लेकर भी सवाल उठाए जाने लगे हैं। खासकर उस हालत में जब युवा मोर्चा के मंडल उपाध्यक्ष की सड़क पर खड़े डंपर से टकराकर मौत होती है और इस मामले में यातायात व्यवस्था पर सवाल उठाने वाले मंडल अध्यक्ष तथा साथियों को आगजनी मामले में पुलिस के द्वारा नामजद आरोपी बना दिया जाता है। 
दरअसल युवा मोर्चा को लेकर दमोह जिले में दो अलग-अलग तस्वीर सामने आई हैं। शनिवार को युवा मोर्चा द्वारा जिला मुख्यालय पर राहुल गांधी का पुतला दहन किया गया इस दौरान जिले भर की पुलिस के साथ वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद रहे। पुतला दहन के बाद भाजपा नेताओं ने फायर ब्रिगेड कर्मचारियों को पुतले की आग भी बुझाने नहीं दी। तथा वापसी में कांग्रेस अनुसूचित जाति मोर्चा के धरना स्थल के तंबू के पास पहुंचने से भाजपाइयों को रोकने में पुलिस को भारी मशक्कत करना पड़ी।
इधर दूसरी ओर पथरिया में पुलिस व्यवस्था पर सवाल उठाने वाले युवा मोर्चा के मंडल अध्यक्ष व साथियों को आगजनी के मामले में नामजद आरोपी बना दिया गया। इससे वह युवा भी शामिल है स्थानीय विधायक एवं मंत्री लखन पटेल के काफी नजदीकी बताए जाते हैं।
सड़क पर खड़े हाईवा से टकराए युवा मोर्चा उपाध्यक्ष की  हो गई थी दुखद मौत.. जिले के पथरिया थाना अंतर्गत पथरिया गढ़ाकोटा मार्ग पर 18 दिसंबर की रात सड़क पर खड़े एक हाईवा से टकराए पल्सर बाइक सवार युवक की दर्दनाक मौत हो गई थी। हादसे के शिकार युवक की पहचान भारतीय जनता युवा मोर्चा पथरिया मंडल के उपाध्यक्ष आकाश बहेरिया के रूप में हुई थी। इधर घटना की जानकारी लगते ही बड़ी संख्या में स्थानीय निवासियों के साथ युवा मोर्चा कार्यकर्ता भी मौके पर पहुंच गए थे। 
बाद में आकाश की मौत की खबर लगने पर युवा मोर्चा के आक्रोशित मंडल पदाधिकारी कार्यकर्ताओं के साथ मंडल अध्यक्ष कुलदीप पटेल ने पथरिया थाना पहुंचकर थाना प्रभारी सुधीर बेगी के समक्ष यातायात व्यवस्था से लेकर कानून व्यवस्था को लेकर गंभीर आरोप लगाए थे। इधर घटनास्थल पर समय पर पुलिस के नहीं पहुंचने से आक्रोषित भीड़ ने उपरोक्त हाईवे के केबिन में आग लगा दी थी। हालात पर काबू पाने के लिए दूसरे थाना क्षेत्र से भी पुलिस को बुलाना पड़ा था। इधर इस मामले में हाईवा मलिक जितेंद्र राजपूत तथा चालक नारायण पटेल की शिकायत पर पथरिया थाने में करीब 50 अज्ञात लोगों के खिलाफ विभिन्न धाराओं में मामला दर्ज किया गया था। बाद में इस मामले में सात लोगों की पहचान होना बताकर इनको आरोपी बनाया गया है। जिन में सबसे ज्यादा चौकाने वाला नाम युवा मोर्चा के पथरिया मंडल अध्यक्ष कुलदीप पटेल का है।
उल्लेखनीय की यह वही कुलदीप पटेल है जिन्होंने अपने युवा साथी मंडल उपाध्यक्ष आकाश बहरिया की मौत हो जाने पर घटना की रात पथरिया थाना पहुंचकर थाना प्रभारी सुधीर बेगी के समक्ष कानून व्यवस्था को लेकर जमकर सवाल जवाब किए थे। युवा मोर्चा अध्यक्ष साथियों की थाना प्रभारी के बीच गर्मागर्म बहस के करीब पांच मिनिट के बायरल बीडियों में गालीगलौच अभद्र भाषा का उपयोग होने की बजह से उसे यहां पर हम पूरी तरह से दिखा सुना नहीं पा रहे।
युवा मोर्चा अध्यक्ष व थाना प्रभारी के बीच गर्मागर्म बहस का बीडियों बायरल.. उपरोक्त बातचीत का एक वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हुआ था जिसमें युवा मोर्चा मंडल अध्यक्ष कुलदीप पटेल सहित सक्रिय कार्यकर्ता संदीप पटेल गोविंद पटेल सरमन पटेल मनोज अग्रवाल हेमंत मिश्रा छांवर नामदेव आदि नजर आ रहे हैं। जिस में जुआ सट्टा अवैध शराब यातायात कानून व्यवस्था आदि को लेकर गरमा गरम बहस के साथ आपत्ति जनक भाषा शैली का उपयोग देखा सुना जा सकता है। कुछ युवाओं के नशे में गालियां बकने तथा थाना प्रभारी भी धमकाते चिल्लाते नजर आ रहे थे। जिसमें कुछ लोग चिल्ला चिल्ला कर कह रहे थे कि जब दमोह एसपी द्वारा पथरिया से का जुआ पकड़ा जाता है तो पथरिया पुलिस क्या करती है। साथ ही पहले कुछ जगह शराब बिकती थी आज हर गली-गली में शराब बिक रही है।
जिनसे बहस हुई वही आगजनी में नामजद आरोपी.. 18 दिसंबर की देर रात हादसे के वाद थाना प्रभारी और युवा मोर्चा पदाधिकारी के बीच हुई बहस के वीडियो में युवा मोर्चा के जो पदाधिकारी नजर आ रहे हैं उन्हीं को हाईवा आगजनी मामले में नामजद आरोपी बनाए जाने के बाद इस बात की चर्चा सरगम है की थाना प्रभारी से पंगा लेना युवा मोर्चा के मंडल अध्यक्ष और साथियों को महंगा पड़ गया है।  हालांकि उपरोक्त मामले में थाना प्रभारी सुधीर बैगी का कहना है कि हाईवा मालिक जितेंद्र राजपूत तथा चालक नारायण पटेल द्वारा उपरोक्त लोगों की पहचान करके नामजद कराया गया है। ऐसे में फिर से एक सवाल उठता है कि रात के अंधेरे में भारी भीड़ के बीच में वह इनकों कैसे पहचानने में सफल रहे..?

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