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हाउसिंग बोर्ड को अटल आश्रम योजना तहत मकान का घटिया निर्माण कराना महंगा पड़ा.. उपभोक्ता विवाद प्रतितोषण आयोग ने मामले को गंभीरता से लेते हुए मरम्मत कराने कार्रवाई के आदेश पारित किए..

 मप्र गृह निर्माण मंडल के विरुद्ध आदेश पारित किया

दमोह। मध्य प्रदेश गृह निर्माण मंडल द्वारा मकान की घटिया निर्माण सहित अन्य कमियों को लेकर जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोषण आयोग मैं पेश किए गए परिवाद को संज्ञान में लेते हुए माननीय आयोग ने गृह निर्माण मंडल के खिलाफ आदेश पारित किया है।

तद संदर्भ में परिवादी के अधिवक्ता अजय बाजपेई ने जानकारी देते हुए बताया कि परिवादी दीपक अहिरवार ने अटल आश्रय योजना के अंतर्गत दमयंती पुरम में एक मकान  5 लाख 85 हजार रुपये में क्रय किया था। मकान आवंटन के पूर्व परिवादी ने घटिया निर्माण एवं निर्माण संबंधी कई त्रुटियां-मुख्य रूप से सीलिंग में बरसात का पानी भरना, दरवाज़े में  कुनदे न लगे होना, लाइट के बोर्ड मैं बटन ना लगे होना, सही ढंग से पुताई नहीं होना टॉयलेट में दरवाजे नहीं लगा होना,नल फिटिंग एवं कनेक्शन कंप्लीट ना होना, दीवारों से रेत गिरना, मकान के अंदर एवं बाहर कचरा का ढेर लगा होना,चौखट खिड़कियों में पेंट ना होना, खिड़की चौखट में कांच नहीं एवं टॉयलेट बाथरूम के टाइल्स टूटे हुए होना इत्यादि पायीं थी।

 जिसकी शिकायत परिवादी ने मध्य प्रदेश गृह निर्माण मंडल के सक्षम अधिकारियों के समक्ष की थी। परंतु सक्षम अधिकारियों द्वारा कोई कार्यवाही नहीं की गई जिससे व्यथित होकर परिवादी ने श्रीमान अध्यक्ष महोदय जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोषण आयोग दमोह के समक्ष परिवार प्रस्तुत किया। जवाब में मध्य प्रदेश गृह निर्माण मंडल द्वारा व्यक्त किया की विप दलों पर भवन उपलब्ध कराया गया है एवं परिवादी आधिपत्य ले चुका है। इस कारण से आवेदन पोषणीय नहीं है तथा कॉविड-19 महामारी के समय असामाजिक तत्वों ने भवन को क्षति पहुंचाई थी। परंतु माननीय आयोग मध्य प्रदेश गृह निर्माण मंडल के इन तथ्यों से सहमत नहीं हुआ। यह आर्थिक रूप से कमजोर व्यक्तियों के लिए आवास बनाए गए हैं ऐसी स्थिति में अनावेदक का वैधानिक और नैतिक उत्तर दायित्व कार्यालय के कर्तव्यों की आचार संहिता यह होती है कि प्रत्येक खरीददार को उचित गुणवत्ता का साफ सुथरा मकान दिया जाए और अनावेदक गण इसमें असफल रहे हैं जो की सेवा में कमी है।

माननीय जिला उपभोक्ता विवाद प्रतितोषण आयोग ने आदेशित किया कि दो माह के भीतर ड्राइंग और विशेषता के अनुरूप त्रुटि निर्माण को दुरुस्त किया जाकर परिवादी को विस्तृत निरीक्षण रिपोर्ट सहित मकान पुनः सुपुर्द किया जाए एवं परिवादी मरम्मत हेतु रिक्त आधिपत्य प्रदान करें एवं मरम्मत ना करने के  ऐवज में ₹80000 मध्य प्रदेश गृह निर्माण मंडल अदा करेगा। साथ में 2 माह का मासिक किराया ₹5000, सेवा की कमी की हेतु  ₹15000 एवं वाद व्यय के लिए में ₹3000 देने का आदेश पारित किया है।

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