रेलवे में नौकरी का झांसा देकर लाखों की ठगी..
दमोह। रेलवे में नौकरी का झांसा देकर लाखों की ठगी करने वाले चार आरोपियों के खिलाफ पथरिया थाने में एफ आई आर दर्ज करने के बाद पुलिस ने आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है। मामले में फरियादी जहां पथरिया थाना क्षेत्र के निवासी हैं वहीं आरोपियों में से एक पथरिया तथा तीन दमोह शहर के निवासी हैं। आरोपियों के तार अंतरराज्यीय गिरोह से जुड़े होने के आरोप पीड़ित जनों द्वारा लगाए गए है।
पथरिया क्षेत्र रजवास निवासी साहब सिंह राजपूत एवं करैया लखरोनी निवासी मुराद खान ने अपने परिवार के साथ 3 मार्च 2021 को एसपी ऑफिस पहुंचकर एक आवेदन दिया था जिसमें दमोह निवासी राम लखन भारती, प्रेरित भारती एवं बबली उर्फ विनेश भारती तथा पथरिया निवासी राजेंद्र अहिरवार के द्वारा रेलवे में नौकरी लगवाने का झांसा देकर साढ़े सोलह लाख रुपए ठग लेने का आरोप लगाया था। जिसके बाद 4 मार्च को पथरिया थाने में उपरोक्त चारों आरोपियों के खिलाफ धारा 420 और 506 के तहत अपराध पंजीबद्ध करते हुए पुलिस ने चारों आरोपियों की तलाश शुरू कर दी है।
मामले में पीड़ित साहब सिंह राजपूत ने बताया कि उनको उपरोक्त आरोपियों ने करीब ढाई वर्ष पूर्व वर्ष 2018 में रेलवे में नौकरी लगवाने का झांसा दिया था जिसके बाद उनकी बातों में आकर मेरे द्वारा साढ़े 8 रुपये नगद दिए गए जिसकी पावती भी उनके पास है। इसी तरह मुराद खान से भी 8 लाख रुपए लिए गए। बाद में दोनों को बनारस, कोलकाता आदि में बुलवा कर फर्जी जॉइनिंग लेटर देकर नौकरी लग जाने की बात कही गई। लेकिन बाद में जब किसी प्रकार की कोई नौकरी उपरोक्त लोगों की नहीं लगी तो वह पथरिया वापस लौट आये। तथा उन्होंने अपने रुपए वापस मांगना शुरू कर दिए। जिस पर आरोपियों ने उन्हें झूठे मामले में फसाने की धमकी देना शुरू कर दी। जिसके बाद पीड़ित पक्ष द्वारा पथरिया थाने, दमोह एसपी ऑफिस, आईजी, डीआईजी, गृह मंत्री, मुख्यमंत्री आदि को लगातार शिकायतें प्रेषित की गई थी।
वही हाल ही में मुख्यमंत्री द्वारा फर्जीवाड़ा करने वालों के खिलाफ कार्रवाई किए जाने के निर्देशों के चलते दमोह एसपी के निर्देश पर 4 मार्च को पथरिया थाना में दमोह निवासी राम लखन भारती उनकी पत्नी बबली उर्फ विनेश भारती, पुत्र प्रेरित भारती तथा रिश्तेदार राजेंद्र अहिरवार पथरिया निवासी के खिलाफ धारा 420 और 506 के तहत अपराध दर्ज करते हुए उनकी तलाश शुरू कर दी है। मामले में पीड़ित व्यक्तियों का कहना है कि उपरोक्त आरोपियों के तार रेलवे में नौकरी लगवाने का झांसा देने वाले अंतरराज्यीय गिरोह से जुड़े हुए हैं। यदि पुलिस इनको हिरासत में लेने के बाद सख्ती से पूछताछ करते हुए जांच करती है तो ऐसे अनेक मामले उजागर हो सकते हैं। जिनमें उनके द्वारा नौकरी का झांसा देकर लाखों रुपए वसूले गए तथा लोग आज भी नौकरी लग जाने या अपने रुपयों की वापसी की उम्मीद में चक्कर लगा रहे हैं। वही इनकी धमकी और डर की वजह से रिपोर्ट करने सामने नहीं आ रहे है।
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