विधायक जालम सिंह की गाड़ी को पुलिस ने रोका-
दमोह। पूर्व मंत्री जालमसिंह की कार को जबलपुर तरफ जाते समय गुबरा में रोके जाने के बाद विधायक भाई सांसद प्रहलाद पटेल की तीखी प्रतिक्रिया सामने आई है। पिछले 24 घंटे में जबेरा विधानसभा क्षेत्र में पुलिस की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाते हुए सांसद श्री पटेल ने आचार सहिंता की आड़ में पुलिस पर मनमानी तथा कांग्रेस के लिए काम करने के आरोप लगाते हुए इसे वरिष्ठ विधायक का अपमान बताया है।
दमोह-जबलपुर रोड पर गुबारा गांव में विधायक और सांसद प्रहलाद पटेल के भाई पूर्व मंत्री जालम सिंह को पुलिस द्वारा रोके जाने के मामले में जमकर तूल पकड़ने के बाद अब सांसद प्रहलाद पटेल की तीखी प्रतिक्रिया सामने आई है। जिसमें उन्होंने पुलिस पर कमलनाथ के इशारे पर काम करने तथा चुनाव आचार संहिता की आड़ में मनमानी कार्यप्रणाली को अंजाम देने जैसे आरोप लगाए है। बता दें कि 6 मई को दमोह लोकसभा चुनाव के ठीक पहले जबेरा विधानसभा क्षेत्र में एक के बाद एक कुछ ऐसे घटनाक्रम सामने आए जिनको लेकर सांसद प्रहलाद पटेल पुलिस पर मनमानी कार्य प्रणाली अपनाने के आरोप लगाते नजर आए है। वहीं इन सब आरोपों के जवाब में पुलिस प्रशासनिक अधिकारियों की तरफ से कोई अधिकृत बयान सामने नहीं आया है।
ताजा मामला दमोह जबलपुर जिले की सीमा पर स्थित गुबारा का है। जहा सोमवार दोपहर पुलिस ने विधायक जालम सिंह की गाड़ी को रोककर पूछताछ की। तथा बाद में वरिष्ठ अधिकारियों के आने और उनके द्वारा पूंछतांछ के बाद ही जाने दिया गया। दरअसल आज दमोह में मतदान के चलते निर्वाचन आयोग के निर्देशानुसार किसी भी बाहरी व्यक्ति के जिले में प्रवेश पर पूंछताछ की जा रही थी। इधर विधायक जालम सिंह अपने रिश्तेदार पूर्व सांसद चंद्रभान सिंह की माताजी के निधन हो जाने पर उनकी अंत्येष्टि में शामिल होने के बाद मझगुवा हंसराज से गुबारा होते हुए वापस जबलपुर तरफ जा रहे थे।
इस दौरान पुलिस ने विधायक जालम सिंह पटेल की गाड़ी को रोक लिया। जिसकी खबर कुछ ही देर में मीडिया की सुर्खियों बनने के साथ "विधायक को हिरासत में लिए जाने" की ब्रेकिंग बन गई। जबकि इस मामले में विधायक जालम सिंह पुलिस द्वारा गाड़ी रोके जाने की बात ही कहते नजर आए। उनको सिग्रामपुर चौकी ले जाया गया था। जहां एडिशनल एसपी विवेक लाल ने उनसे पूंछतांछ करके जानकारी ली और जबलपुर जाने दिया गया। उल्लेखनीय है कि लोकसभा चुनाव के दौरान पूर्व मंत्री जालम सिंह अधिकांश समय दमोह क्षेत्र में ही डटे रहे हैं। तथा चुनाव के साथ मीडिया मैनेजमेंट में भी उनका दखल रहा। यही वजह रही कि छोटी छोटी सी सूचनाओं पर भी कतिपय खबरचियो का जमघण्ट सांसद पटेल के इर्द गिर्द लगता रहा।
इस दौरान पुलिस ने विधायक जालम सिंह पटेल की गाड़ी को रोक लिया। जिसकी खबर कुछ ही देर में मीडिया की सुर्खियों बनने के साथ "विधायक को हिरासत में लिए जाने" की ब्रेकिंग बन गई। जबकि इस मामले में विधायक जालम सिंह पुलिस द्वारा गाड़ी रोके जाने की बात ही कहते नजर आए। उनको सिग्रामपुर चौकी ले जाया गया था। जहां एडिशनल एसपी विवेक लाल ने उनसे पूंछतांछ करके जानकारी ली और जबलपुर जाने दिया गया। उल्लेखनीय है कि लोकसभा चुनाव के दौरान पूर्व मंत्री जालम सिंह अधिकांश समय दमोह क्षेत्र में ही डटे रहे हैं। तथा चुनाव के साथ मीडिया मैनेजमेंट में भी उनका दखल रहा। यही वजह रही कि छोटी छोटी सी सूचनाओं पर भी कतिपय खबरचियो का जमघण्ट सांसद पटेल के इर्द गिर्द लगता रहा।
इधर पिछले 24 घंटो में जबेरा विधानसभा क्षेत्र में कुछ ऐसे मामले भी सामने आए जिनकों को लेकर दमोह से भाजपा प्रत्याशी प्रहलाद पटेल स्वय मोर्चा सम्हालते नजर आए। यहां तक की कल आधी रात के बाद तेंदूखेड़ा थाने पहुंचकर वह पुलिस कारवाई पर आपत्ति दर्ज कराते तथा गंभीर आरोप लगाते हुए नजर आए।
"जिसकी न फटी बिवाई वह क्या जाने प्रीत पराई"-बुंदेलखंड में यह कहावत प्रसिद्ध है, ऐसे ही कुछ हालात का शिकार अनेक आम नागरिकों को चुनाव आचार संहिता की आड़ में वाहन चेकिंग के दौरान होना पड़ा है। अब इस तरह के व्यवहार के शिकार सांसद समर्थक पोलिंग एजेंट और उनके भाई हुए तब जाकर सांसद श्री पटेल का गुस्सा और प्रतिक्रिया सामने आई है जो किसी भी लिहाज से गलत नहीं कही जा सकती। अटलराजेंद्र जैन की रिपोर्ट
0 Comments